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भारत का सपना मिशन मून-2, आज होगा चंद्रयान-2 लॉन्च

भारत का सपना मिशन मून-2 आज चांद पर सच्चा होने जा रहा हैं। आज चंद्रयान-2  लॉन्च होने के साथ ही भारत का मिशन मून का सपने सच हो जायेगा। 

इंडियन स्पेस रिसर्च ऑर्गनाइजेशन (ISRO) के अनुसार आज से चंद्रयान-2 का काउंटडाउन शुरू हो जाएगा।  इंडियन स्पेस रिसर्च ऑर्गनाइजेशन ने चंद्रयान-2 की जानकारी देते हुए बताया कि  चंद्रमा पर भेजे जाने वाले चंद्रयान-2 को आज शाम 6.43 बजे से लॉन्च किया जाएगा। 

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chandrayaan-2 का लॉन्च क्यों रुक गया था

जैसा कि आप सभी जानते हैं कि 15 जुलाई, सोमवार के दिन की शुरुआत के साथ ही chandrayaan-2 को लॉन्च किया जाना था। सोमवार का दिन शुरू होते ही रात 2:51 पर chandrayaan-2 इसरो द्वारा लांच केर देता परंतु इस लॉन्च के लगभग 1 घंटे पहले ही उस चंद्रायण में वैज्ञानिकों द्वारा एक त्रुटि पाई गई। जिसकी वजह से chandrayaan-2 के लॉन्च को रोक दिया गया।  वैज्ञानिकों ने जियोसिंक्रोनस सैटेलाइट लॉन्च व्हीकल मार्क-3 (जीएसएलवी मार्क-3) में तकनीकी कारणों के चलते ये लॉन्च आज के लिए टाल दिया गया था। चंद्रयान में लिक्विड कोर स्टेज पर ईंधन भरने का काम पूरा हो गया है।

क्या है चंद्रयान-2  

चंद्रयान-2 दरअसल भारतीय वैज्ञानिकों द्वारा बनाया गया एक ऐसा उपकरण चंद्रयान है जो चंद्रमा की सतह पर जाकर चंद्रयान में लगे उपकरण की सहायता से चंद्र स्थल की आकृति, खनिज तत्व प्रचुरता, चंद्रमा के बाहरी विभाजन और हाइड्रोक्सिल और जल-हिम का अध्ययन कर सभी जानकारियां वैज्ञानिकों तक पहुंचाता है। आपको यह भी बता दें कि भारतीय वैज्ञानिकों द्वारा पहला चंद्रयान साल 2008 में लांच किया गया था। अब यह दूसरा चंद्रयान होगा जो 8 साल बाद  लॉन्च किया जा रहा हैं।

सूत्रों के मुताबिक, मिशन मून-2 - चंद्रयान-2 भारत का दूसरा सबसे बड़ा और अहम मिशन है जो अब जल्दी ही पूरा हो जायेगा। चंद्रयान-2 को लॉन्च करने के लिए श्रीहरिकोटा के सतीश धवन स्पेस सेंटर का चुनाव किया गया है और इसको रॉकेट जियोसिन्क्रोनस सैटेलाइट लॉन्च व्हीकल-मार्क 3 (जीएसएलवी एमके 3) से लॉन्च किया जाएगा। जियोसिन्क्रोनस सैटेलाइट लॉन्च व्हीकल-मार्क 3 को  वैज्ञानिकों  'बाहुबली' का नाम दिया  हैं। जीएसएलवी एमके 3 रॉकेट 44 मीटर लंबा और 640 टन वजनी है और इसमें चंद्रयान-2 जो 3.8 टन का हैं, उसको रखा जायेगा।

सूत्रों के मुताबिक, रॉकेट जियोसिन्क्रोनस सैटेलाइट लॉन्च व्हीकल-मार्क 3 की कॉस्ट लगभग 375 करोड़ रुपये की बताई जा रही है और वही इस रॉकेट से लॉन्च होने वाला का चंद्रयान-2 की कॉस्ट 603 करोड़ रुपये आंकी जा रही हैं। 

धरती से चांद की दूरी करीब 3.844 किलोमीटर है जो चंद्रयान-2 उड़ान के कुछ ही मिनटों बाद  पूरी कर लेगा और अपने आप को धरती की कक्षा में स्थापित करेगा। चंद्रयान-2 में स्थापित लैंडर विक्रम और रोवर प्रज्ञान चांद तक जाएंगे। इसमें से लैंडर विक्रम सितंबर या अक्टूबर में चांद पर पहुंचेगा और इसके बाद वहां प्रज्ञान अपना काम शुरू कर देगा।

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